जानिये कैसे डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर शुरू कर मासिक 2 -3 लाख रूपये तक इनकम की जा सकती है

आंकड़ों के मुताबिक हमारे देश में हर महीने लगभग 15 लाख और सालाना 1.5  करोड़ से अधिक मामले कोर्ट में दर्ज होते हैं, आजकल लगभग हर किसी व्यक्ति को कुछ न कुछ परेशानी होती ही रहती है,  90 प्रतिशत मामलों में तो पीड़ित व्यक्ति पुलिस या कोर्ट में विभिन्न कारणों से मामला दर्ज नहीं करवाते उदाहरण के लिए जैसे  समय और पैसा खराब होने की आशंका, न्याय की उम्मीद नहीं होती, कोर्ट में सालों तक मामले चलते रहते हैं, बड़े वकीलों की बड़ी फीस देनी होगी, मानसिक प्रताड़ना झेलनी पड़ेगी या कौन पुलिस के झमेले में पड़ेगा इत्यादि | इस तरह एक आसान, कम खर्चीली और विशेषज्ञ सुविधा के अभाव में करोड़ों लोग अपने साथ घटित होने वाली पीड़ा को झेलने के लिए मजबूर हो जाते हैं | 

राजमंच का उद्देश्य जन जागरूकता, जन भागीदारी और जन सशक्तिकरण के लिए कार्य करना है | राजमंच द्वारा आम लोगों में से ही हर क्षेत्र में कुछ चयनित व्यक्तियों को डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर या नागरिक सहायता केंद्र शुरू करने का लाइसेंस दिया जा रहा है ताकि लोगों को आसान और विशेषज्ञ कानूनी मदद प्रदान की जा सके | 


क्या है डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर  ? 




आपके डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर के जरिये देश में कहीं भी कभी भी कोई नागरिक विभिन्न प्रकार के मामलों में आपके स्टोर पर शिकायत दर्ज कर मदद प्राप्त कर सकता है |

उदाहरण के लिए जैसे -

  1. पुलिस का एफआईआर  दर्ज करना
  2. इंस्युरेन्स क्लेम रिजेक्ट होना
  3. सरकारी विभाग द्वारा कोई लापरवाही 
  4. किसी के द्वारा डराना या धमकी मिलना
  5. उपभोक्ता मामले 
  6. पानी, बिजली से जुड़े मामले 
  7. प्रॉपर्टी का विवाद , धोखाधड़ी होनापैसे वापिस ना लौटना
  8. बैंक से जुड़े मामले  इत्यादि | 


डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर  कैसे काम करता है 




शिकायतकर्ता को अपनी शिकायत दर्ज करने के लिए आपके डिजिटल स्टोर पर जाकर अपना  नाम, पता,  फ़ोन नंबर इत्यादि के साथ शिकायत की जानकारी, और शिकायत के अनुरूप फीस जो की न्यूनतम 800 रूपये से लेकर अधिकतम 1500 रूपये तक हो सकती है ये सब दर्ज करना होता है | शिकायत दर्ज होने के बाद राजमंच की कानूनी विशेषज्ञों की टीम उस मामले को देखती है और शिकायतकर्ता  से संपर्क कर उसे उचित राहत प्राप्त करने में मदद की जाती है | शिकायतकर्ता को निम्न फायदे मिलते हैं -

  1. मामले की प्राथमिक जांच पड़ताल 
  2. विशेषज्ञ मार्गदर्शन
  3. कानूनी विशेषज्ञों द्वारा विपक्षी पार्टी या सरकारी अधिकारी से वार्तालाप 
  4. जरूरत पड़ने पर आवश्यक नोटिस तैयार करना 
  5. ईमेल या फ़ोन के जरिये पूरा सपोर्ट 




इसमें आपको आपके स्टोर का एक पर्सनल डैशबोर्ड भी मिलता है जिसके जरिये आप अपने फ़ोन से ही लॉगिन करके आपके स्टोर पर दर्ज हुई हर समस्या का स्टेटस,  हर शिकायत के दर्ज होने पे हुई कमाई इत्यादि भी देख सकते हैं | आपके स्टोर पर दर्ज हुई प्रत्येक शिकायत पर आपको 30% मार्जिन मिलता है | 


डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर शुरू करने के फायदे 

  1. यह एक ऑनलाइन स्टोर होता है, सारा प्रोसेस ऑटोमेटिक रहता है, आपका समय बिलकुल भी खर्च नहीं होता है  
  2. किसी ऑफिस की जरूरत नहीं होती है जिससे जगह का किराया या उसे खरीदने का खर्चा नहीं होता है 
  3. कोई स्टाफ हायर करने की जरूरत नहीं , जिससे सैलरी इत्यादि देने का खर्चा नहीं होता 
  4. मात्र अपने मोबाइल फोन से सब मैनेज कर सकते हैं 
  5. सारी प्रक्रिया ऑनलाइन होती है , कहीं आने जाने की जरूरत नहीं होती है 
  6. पूरा सपोर्ट दिया जाता है 
  7. दर्ज की जाने वाले शिकायतों पर काम करने की जिम्मेदारी आपकी नहीं होती है, उसके लिए शिकायतकर्ता से संपर्क कर सीधे कानूनी विशेषज्ञों की टीम काम करती है
  8. ये ऐसी सेवाएं है जो कहीं और नहीं मिलती हैं, और लगभग हर किसी व्यक्ति को आजकल इन सेवाओं की जरूरत पड़ती ही है 
  9. सही मार्केटिंग-प्रमोशन के जरिये मासिक 2 -3 लाख रूपये तक की इनकम आसानी से की जा सकती है 


डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर शुरू करने हेतु आवश्यकताएं  

अगर आप अपना डिजिटल सिटीजन असिस्टेंस स्टोर  शुरू करना चाहते हैं  तो इसका लाइसेंस लेने के लिए एक पासपोर्ट साइज फोटो, एक आधार कार्ड की कॉपी ,  एक पैन कार्ड की कॉपी के साथ 30000 हजार रूपये फीस जमा करवानी होती है |  चूँकि आपको आपके स्टोर पर दर्ज हुई प्रत्येक शिकायत पर 500 रूपये तक का मार्जिन मिलता है और हर दिन देश में करोड़ों लोगो को कोई ना कोई शिकायत होती ही रहती है इसीलिए कुछ दिन में ही पहली 60 -70 शिकायतों में आपका इन्वेस्टमेंट रिकवर हो सकता है |  देरी ना करें और आज ही लाइसेंस के लिए अप्लाई करें |